आदिवासी कमार गर्भवती महिला क़ी पेट मे नवजात शिशु क़ी मृत्यु,14 दिन बीत जाने की बाद भी मामले पर जांच एवं कार्यवाही मे देरी क्यों? - newschakravyuh.in

Breaking

Home Top Ad

Tuesday, September 3, 2024

आदिवासी कमार गर्भवती महिला क़ी पेट मे नवजात शिशु क़ी मृत्यु,14 दिन बीत जाने की बाद भी मामले पर जांच एवं कार्यवाही मे देरी क्यों?


 धनेश्वर बंटी सिन्हा


गरियाबंद /छुरा -जिले क़ी बहुचर्चीत घटना छत्तीसगढ़ हॉस्पिटल छुरा मे 21 अगस्त 2024 दिन बुधवार को आदिवासी कमार गर्भवती महिला  नीरा बाई कमार इलाज के लिए आती है.

वहा के डॉक्टर द्वारा गर्भवती महिला का इलाज के नाम पर इंजेक्शन एवं बॉटल लगाकर टेबलेट, जांच कर सब नार्मल है कहकर महिला को घर भेज दिया जाता है, फिर उसी रात लगभग 10से 12बजे बीच आदिवासी कमार गर्भवती महिला नीरा बाई क़ी पेट मे दर्द होना शुरू हो गया, फिर पुन इलाज किऐ गए छत्तीसगढ़ हॉस्पिटल छुरा लाया गया. जहाँ गर्भवती महिला के पेट मे नवजात शिशु को मृत घोषित कर दिया जाता है.


वही पीड़ित महिला एवं परिवार द्वारा हॉस्पिटल प्रबंधक क़ी लापरवाही मानते हुए. जिला प्रशासन के पास न्याय क़ी गुहार लगाई थी. पर आज  14दिन बीत जाने के बाद भी जिला प्रशासन क़ी ओर से कोई कार्यवाही नही क़ी गई.

जाँच टीम

जाँच  टीम का हुआ है गठन,  पर आज 14दिन बीत जाने के बाद भी जांच टीम अपनी रिपोर्ट नही सौंप पाई. आखिर इतनी देरी क्यों कही लिपापोती का खेला तो नही चल रहा, आखिर इतने दिन बाद भी जिला प्रशासन द्वारा कार्यवाही क्यों नही क़ी गई.


इस मामले में उठता सवाल?

क्या वह डॉक्टर स्त्री रोग विशेषज्ञ है, महिला क़ी इलाज करने क़ी पात्रता रखता है 


पहली बार मरीज को किस डॉक्टर ने देखा और इलाज किया  .


रात में दूसरी बार किस डॉक्टर ने देखा .


सोनोग्राफी किस डॉक्टर के द्वारा किया गया ।


बच्चे को मृत किस आधार पर घोषित किया गया और किस डॉक्टर ने किया।


मृत बच्चे का प्रसव कराने पूर्व क्या प्रोटोकॉल होता है , क्या उसका पालन किया गया।


प्रसव किस डॉक्टर के द्वारा कराया गया।


पीड़िता के द्वारा बताया जा रहा है की गर्भवती महिला का इलाज और सोनोग्राफी वहा के संचालक ने किया जो की डिग्रीधारी नही है। क्या पीसीपीएनडीटी और नर्सिंग होम एक्ट के नियमो का  पालन किया गया 


 जिला चिकित्सा अधिकारी गरियाबंद


 गरियाबंद जिला चिकित्सा अधिकारी गार्गी यदु नें कहाँ क़ी  जाँच के लिए एक सप्ताह का समय  तो लगता है. जाँच टीम गठन हुआ है. जाँच टीम क़ी रिपोर्ट आने के बाद आगे  कार्यवाही क़ी जायेगी.

अमितेश शुक्ल पूर्व मंत्री

 इस मामले पर पूर्व मंत्री अमितेश शुक्ल नें कहाँ क़ी  पीड़िता को न्याय नही मिलने पर धरना प्रदर्शन कर उग्र आंदोलन क़ी जाएगी ।


इस मामले में बिंद्रानवागढ़ विधायक जनक ध्रुव नें  स्वास्थ्य मंत्री से मुलाक़ात कर  लिखित रूप से शिकायत क़ी है. साथ ही कहाँ है क़ी अगर इस मामले मे पीड़िता को न्याय नही मिलता तो सड़क से लेकर सदन तक क़ी लड़ाई लड़ी जायेगी. प्रदर्शन कर  उग्र आंदोलन किया जायेगा 

उपाध्यक्ष जिला पंचायत गरियाबंद, सामाजिक युवा नेता संजय नेताम

आदिवासी कमार गर्भवती महिला के नवजात शिशु क़ी मृत्यु  मामले पर जिला पंचायत उपाध्यक्ष संजय नेताम नें कहाँ क़ी निश्चित ही हॉस्पिटल प्रबंधक से लापरवाही हुई है. सभी बिन्दुओ पे जांच होनी चाहिए कड़ी से कड़ी कार्यवाही होनी चाहिए. हर सम्भव पीड़िता क़ी मदद क़ी जायेगी अगर न्याय नही मिला तो निश्चित ही प्रदर्शन कर आंदोलन किया जायेगा। 



Post Bottom Ad